WC 2019 IND vs ENG: 2007 में जैसे ऑस्ट्रेलिया जीता था खिताब, उसी कोशिश में भारतीय टीम- गावस्कर

बर्मिंघम। वर्ल्ड कप में रविवार को भारत का मुकाबला इंग्लैंड से है। ये मैच विश्व कप के सबसे बड़े मैचों में से एक है। इस महामुकाबले को लेकर भारतीय टीम के पूर्व सलामी बल्लेबाज सुनील गावस्कर ने राजस्थान पत्रिका में छपे अपने आलेख में कहा है कि ये मैच विश्व कप में राउंड रोबिन लीग का सबसे बड़ा मैच है। गावस्कर का कहना है कि मेजबान इंग्लैंड खुद को सेमीफाइनल की दौड़ में बनाए रखने के लिए संघर्ष कर रहा है जबकि भारतीय टीम शानदार क्रिकेट खेल रही है।

विश्व कप जीतने की दिशा में टीम इंडिया- गावस्कर

सुनील गावस्कर ने कहा है कि जिस तरीके से ऑस्ट्रेलिया ने 2007 वर्ल्ड कप में बिना कोई मैच हारे खिताब पर कब्जा किया था, ठीक वैसी ही कोशिश भारतीय टीम कर रही है। आपको बता दें कि टीम इंडिया वर्ल्ड कप में अभी तक एक भी मैच नहीं हारी है। 5 में से 4 मैच उसने जीते हैं, जबकि 1 मैच बारिश की वजह से ड्रॉ हो गया था। ऐसे में इंग्लैंड के सामने भारतीय टीम बहुत बड़ी चुनौती बनकर सामने खड़ी है। सुनील गावस्कर ने कहा है कि भारत ने जिस तरह पूर्व विजेता वेस्ट इंडीज के खिलाफ सामान्य स्कोर पर भी बड़े आराम से जीत दर्ज कर दी, उसने दूसरी टीमों को सोचने के लिए मजबूर कर दिया है। इसमें कोी शक नहीं है कि भारत की गेंदबाजी छोटे स्कोर का बचाव करने में भी सक्षम है और यही टीम इंडिया का मजबूत पक्ष है।

जाधव और शंकर की फॉर्म चिंता का विषय- गावस्कर

सुनील गावस्कर ने टीम इंडिया में नंबर 4 की समस्या पर भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। गावस्कर ने विजय शंकर और केदार जाधव की फॉर्म को लेकर चिंता जाहिर की है। उन्होंने कहा है कि ये दोनों खिलाड़ी मौके को भुना नहीं पाए हैं। विजय शंकर को उन टीमों के खिलाफ खेलने का मौका है, जो ज्यादा मजबूत नहीं थीं। केदार जाधव के साथ भी यही स्थिति है। जाधव के पक्ष में जो बात जाती है, वह है कि वनडे क्रिकेट में दो शतक बना चुके हैं और विश्व कप से पहले आस्ट्रेलिया के खिलाफ आखिरी वनडे सीरीज में उन्होंने अच्छा प्रदर्शन किया था। हालांकि टीम में बदलाव को लेकर सुनील गावस्कर का कहना है कि ये तो समय ही बताएगा कि कप्तान कोहली क्या बदलाव करते हैं।

विजय शंकर और केदार पर क्या बोले गावस्कर ?

सुनील गावस्कर ने कहा है कि कप्तान को ये ध्यान रखना होगा कि धवन के चोटिल होने के बाद राहुल ओपनिंग कर रहे हैं और अगर शुरुआती तीन बल्लेबाज जल्दी आउट हो जाते हैं, तो टीम मुश्किल में पड़ सकती है। यहां तक कि अफगानिस्तान के खिलाफ दो बल्लेबाजों के जल्द आउट होने के बाद कप्तान कोहली को बल्लेबाजी संभालनी पड़ी थी। ऐसे में शंकर और जाधव के लिए इंग्लैंड के खिलाफ मैच आखिरी मौका हो सकता है। इसके बाद भारत का मुकाबला बांग्लादेश और श्रीलंका जैसी आसान और चिरपरिचित टीम से होना है। इंग्लैंड के खिलाफ छोटे लक्ष्य का बचाव करना आसान नहीं होगा क्योंकि उनकी बल्लेबाजी में काफी गहराई है। इसलिए भारत के शीर्ष—3 बल्लेबाजों को कम से कम 40 ओवर तक बल्लेबाजी करनी होगी ताकि एक अच्छा स्कोर बनाया जा सके।

ऑक्सीजन पर चल रही इंग्लैंड- सुनील गावस्कर

वहीं इंग्लैंड को लेकर भी सुनील गावस्कर ने कहा है कि मेजबान को कतई हल्के में नहीं लेना चाहिए। भारत के खिलाफ इंग्लैंड अपना सबकुछ झोंक देगा। वो पहले बल्लेबाजी करके ज्यादा सफल रहे हैं और इस बार भी ऐसा ही करना चाहेंगे। विश्व कप में उन्हें तीन हार मिली हैं और तीनों ही बार वे लक्ष्य का पीछा कर रहे थे। इसका ध्यान भारत के थिंकटैंक ने भी जरूर रखा होगा। टूर्नामेंट से पहले खिताब की दावेदार इंग्लैंड टीम इस समय ऑक्सीजन पर चल रही है।



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